आज पुरे देश में कांग्रेस सरकार की भ्रष्टचार ,घोटाले और मंहगाई को लेकर किरकिरी हो रही है,और भ्रष्टाचार में फसे मंत्री को हटाने की जगह उन को प्रोत्साहित किया जा रहा है। दूसरी तरफ राजीव गाँधी हत्या मामले में एक किताब जिसका नाम 'कंस्पिरेसी टु किल राजीव गांधी - फ्रॉम सीबीआई फाइल्स'है जिसमे खुलासा किया गया है की राजीव गाँधी हत्या की जाँच में सबूतों को छिपाया गया था, ये इसलिए किया गया था की लोकसभा चुनाव में कही कांग्रेस को शर्मिंदा न होना पड़े , 21/5/1991 को तमिलनाडु में एक रेली के दोरान हत्या कर दी गयी थी , धनु नाम की एक महिला ने अपने शरीर पर बम बांध रखा था इसी महिला ने घटना को अंजाम दिया था जिस में राजीव गाँधी की मृत्यु हो गयी थी । हत्या की जाँच कर रही तमिलनाडु पुलिस का कहना था की रेली में राजीव गाँधी के आने के बाद ये महिला राजीव गाँधी के पास गयी थी जब की 'कंस्पिरेसी टु किल राजीव गांधी - फ्रॉम सीबीआई फाइल्स' किताब के लेखक और इस हत्या के मुख्या जाँच अधिकारी रहे रागोथामन के अनुसार एक विडियो टेप को हटा दिया था इस विडियो टेप मेये साफ देखने को मिल रहा था की मानव बम बनी धनु नाम की महिला और उनके साथी रेली वाले सुरक्षित घेरे में कम से कम दो घंटे तक घूमते रहे थे राजीव गाँधी के आने बाद ये लोग राजीव जी के पास गए और घटना को अंजाम दिया । रागोथामन ने अपनी किताब लिखा है, कि इस लापता विडियो के बारे में जांच हुई थी लेकिन स्पेशल इनवेस्टिगेशन टीम के प्रमुख डीआर कार्तिकेयन ने एमके नारायण को छोड़ दिया। नारायण इस वक्त पश्चिम बंगाल के राज्यपाल हैं। विडियो टेप को आईबी ने ही एक कैमरामैन से हत्या के अगले दिन बरामद किया था। लेकिन हत्याकांड की जांच कर रही टीम को यह टेप कभी नहीं दिया गया । इस बात का खुलासा रागोथामन ने अपनी किताब में किया है ।
कहते है की राजनीती और जंग में सब कुछ जायज है ये बात आज देखने को मिल रही है की सत्ता की लालच में और अपने आप को शर्मिंदगी से बचाने के लिए कांग्रेस कुछ भी कर सकती है इसी लिए यही हल आज भी देखने को मिल रहा है की बस सत्ता प्यारी है न इस देश की जनता जिस ने सत्ता पर बैठाया है और न अपने लोग जिन होने इस कांग्रेस को खड़ा किया बस और बस सत्ता और कुछ नहीं चाहिए ।










