कांशीराम आवास के आवंटन में खेल व घपले को लेकर मंडलायुक्त ओपीएन सिंह गंभीर हैं। उनका कहना है कि अकेले मुरादाबाद ही नहीं मंडलभर में कांशीराम आवासों के आवंटन की समीक्षा कराई जाएगी। सत्यापन में खेल करने वालों के विरुद्ध कार्रवाई भी की जाएगी। इसके लिए पांचों जिले के अधिकारियों की सात दिसंबर को बैठक बुलाई गई
घोटाला -१- जिले में वृधावस्था पेंशन ३१४७ मृतको व १४०७ अपात्रो को बात दी गई . जाच में पुष्टि होने पर पेंशन वितरण पर रोक लगा दी गई पेंशनर्स का चयन करने वाले कोन थे आज तक पता नहीं
यह तो के घोटल है इस तरह के करीबन पाच घोटाले सामने आये है अफसर सही इन मामलो को रफा दफा करने में जादा रूचि लेते है
जिले के घोटालों पर परदा डाले जाने के चंद प्रमाण हैं उक्त दृष्टांत, गंभीरता से पड़ताल करने पर इनकी फेहरिस्त और लंबी हो सकती है। चौंकाने वाली बात यह है कि उक्त घपलों के सुर्खियां बनने के बाद भी किसी की जांच कार्रवाई के अंजाम तक नहीं पहुंच सकी है। पुराने प्रकरणों के हश्र के कारण अब कांशीराम आवास के आवंटन के खेल में भी बेनतीजा जांच की उम्मीद नजर आ रही है। कांशीराम आवास के आवेदकों के सत्यापन में खेल और पात्रों को अपात्र व अपात्रों को पात्र बनाने के खुलासे पर सरकारी स्तर से ही परोक्ष रूप में स्वीकारोक्ति हो गई है। दो स्तरीय जांच में ही इसके लाभार्थियों की स्थिति दो तरह की पाई गई थी। इसके बाद भी सत्यापन में खेल करने वालों के खिलाफ अभी तक कोई कार्रवाई नहीं की गई है। यही नहीं किसी जिम्मेदार अधिकारी ने इसका ब्योरा भी तलब करने की कोशिश नहीं की है। इन स्थितियों में चंद दिनों बाद ही यह खेल भी अन्य घपलों की तरह कागजों में ही दफन हो जाने के आसार जताए जा रहे हैं। इस बाबत पूछने पर एडीएम फाइनेंस रमाशंकर मौर्य ने कहा कि गड़बड़ी रोकने के लिए ही दो स्तर से जांच कर लाभार्थियों की क्रास चेकिंग कराई थी। इसका पूरा ब्योरा जिला प्रशासन के पास मौजूद है। जल्द ही कार्रवाई के बारे में विचार किया जाएगा। अफसर सही इन मामलो को रफा दफा करने में जादा रूचि लेते है

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