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Wednesday, 28 March 2012

पंजाब में फांसी का विरोध

मुलजिम जुर्म करता है पुलिश गुनेहगार को पकड़ती है सबूत इकट्ठा करती है और मुलजिम को सजा दिलवाती है बाद में शुरू होता है राजनीती खेल जी हा कुछ इसी तरह का मामला है पंजाब का  बलवंत सिंह राजोआणा को शनिवार को फांसी दी जाएगी या नहीं, फांसी के विरोध में बुधवार को पंजाब में बंद की वजह से सामान्य जनजीवन बुरी तरह अस्त व्यस्त रहा। बंद के चलते राज्य भर में ज़्यादातर जगह बंद का असर देख ने को मिला।
इस पर बुधवार को अहम फैसला होने की उम्‍मीद है। पंजाब के सीएम प्रकाश सिंह बादल नई दिल्‍ली में हैं और वह बुधवार शाम राष्‍ट्रपति से मिलकर बलवंत की फांसी की सजा माफ करने की अपील करेंगे।  डल खालसा, खालसा एक्शन कमिटी जैसे कट्टरपंथी सिख संगठनों के अलावा कई धार्मिक संगठनों ने बुधवार को राजोआणा की प्रस्तावित फांसी के विरोध में बंद का आह्वान किया था। अकाल तख्त के निर्देश पर पूरे राज्य में कई जगहों पर विशेष प्रार्थना सभाएं आयोजित की जा रही हैं।

31 अगस्त 1995 को पंजाब विधानसभा के सामने तत्कालीन मुख्यमंत्री बेअंत सिंह की कार को बम विस्फोट से उड़ाया गया था। सीएम समेत कुल 17 लोगों की जान गई थी। सीबीआई की विशेष अदालत ने 31 जुलाई 2007 को जगतार सिंह हवारा और बलवंतसिंह राजोआणा को फांसी की सजा सुनाई थी। ‘स्‍टैंड बाई’ मानव बम बलवंत ने अदालत में कबूल किया कि बेअंत सिंह की हत्‍या की साजिश में वह शामिल था और उसे इसका कोई अफसोस नहीं है।
सूबे में कई जगहों पर सुरक्षा बलों ने फ्लैग मार्च किया। पुख्ता सुरक्षा इंतजाम के लिए अर्द्धसैनिक बलों की कई कंपनियां राज्य में तैनात की गई हैं। राजोआणा पटियाला की सेंट्रल जेल में बंद है। पटियाला की सेंट्रल जेल समेत पूरे जिले में सुरक्षा के खास इंतजाम किए गए हैं। प्रदर्शनकारियों पर नज़र रखने के लिए जिले में कई जगहों पर कंट्रोल रूम बनाए गए हैं। कानून व्यवस्था कायम रखने के लिए प्रदेश में पुलिस हाई अलर्ट पर है। 
बंद देख कर के तो यही लगता है की पूरा पंजाब इस हत्यारे के साथ है ऐसी क्या वजह है की पूरा पंजाब इस फासी का विरोध कर रहा है ।
 

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